हिंद जिंक स्कूल के बुनियादी ढांचे, ऊर्जा दक्षता, जल संरक्षण और अपशिष्ट प्रबंधन को आईजीबीसी द्वारा पर्यावरण-शिक्षा, स्वास्थ्य और स्वच्छता में योगदान के लिए उच्च दर्जा दिया गया है।
हिंदुस्तान जिंक अपनी सस्टेनेबल पहल के साथ भविष्य का नेतृत्व एवं कार्बन फुटप्रिंट में कमी लाने के लिए प्रतिबद्ध है। कंपनी के हिंद जिंक स्कूल को इंडियन ग्रीन बिल्डिंग काउंसिल, आईजीबीसी से ग्लोबल लीडरशिप मान्यता दी गयी। यह राजस्थान के केवल दो प्लैटिनम प्रमाणित में से शीर्ष स्कोरिंग स्कूलों में से एक है। इसे ग्रीन बिल्डिंग परियोजनाओं के माध्यम से वैश्विक ग्रीन चैंपियन के रूप में भारत में योगदान के लिए सम्मानित किया गया है।
इस अवसर पर हिंदुस्तान जिंक के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अरुण मिश्रा ने कहा, हम संचालन के आस पास के क्षेत्र के समुदाय के साथ मिलकर कार्य करते है। प्लैटिनम रेटिंग, स्कूली बच्चों के लिए गुणात्मक पहल प्रदान करने के दृढ़ विश्वास के साथ ईएसजी के प्रति हमारी प्रतिबद्धता प्रमाण है।
हिंद जिंक स्कूल में नर्सरी से 12वीं तक के विद्यार्थी अध्ययनरत है। छात्र अवधारणाओं और कौशल को विकसित करने में सक्षम होते हैं, जिं़क विद्यालय में उन्हें श्रेष्ठ अध्ययन की सुविधा प्रदान करने के साथ ही, व्यक्तित्व विकास और उज्ज्वल भविष्य एवं जिम्मेदारियों के लिये तैयार किया जाता है।
छात्रों को नियमित अंतराल पर पौधारोपण अभियान चलाने के लिए प्रेरित किया जाता है। इसके अतिरिक्त, पोषण, व्यायाम और सुरक्षा जैसे विषय उनके पाठ्यक्रम का अनिवार्य हिस्सा हैं। स्कूल में वर्तमान में 997 विद्याथी अध्ययनरत है।
हिंद जिंक स्कूल के बुनियादी ढांचे, ऊर्जा दक्षता, जल संरक्षण और अपशिष्ट प्रबंधन को आईजीबीसी द्वारा पर्यावरण-शिक्षा, स्वास्थ्य और स्वच्छता में योगदान के लिए उच्च दर्जा दिया गया है। हिंदुस्तान जिंक पर्यावरण के बारे में आज की गंभीर वास्तविकता को पहचानता है, और यह एक स्वस्थ पर्यावरण सरंक्षण में सक्रिय भूमिका निभाने प्रतिबद्ध है।